खजुराहो नृत्य महोत्सव

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खजुराहो नृत्य महोत्सव मध्य प्रदेश के खजुराहो में मनाया जाता है। चंदेल राजाओं द्वारा बनवाए गए खजुराहो के मंदिर अपने उत्कृष्ट पाषाण शिल्प के लिए विश्वविख्यात हैं। इसमें से अवशेष 22 मंदिर प्रत्येक वर्ष मार्च के महीने में 'भारतीय शास्त्रीय नृत्य' के सप्ताह भर लम्बे कार्यक्रमों द्वारा सजीव हो उठते हैं। इस समय भारत के अनेक विश्वविख्यात कलाकार यहाँ अपनी कला का प्रदर्शन करते हैं।

  • अपने पुरातात्विक और ऐतिहासिक महत्त्व के कारण यूनेस्को द्वारा 'विश्व धरोहर' के रूप में नामित मध्य प्रदेश के प्रसिद्ध खजुराहो मंदिर में प्रति वर्ष फरवरी-मार्च के महीनों में शास्त्रीय नृत्यों के समृद्ध सांस्कृतिक रूप को देखने के लिए भारत और विदेशों से भीड़ उमड़ती है।
  • चंदेलों द्वारा निर्मित शानदार वास्तुकला वाले मंदिरों के बीच अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त शास्त्रीय नृत्य का यह 'खजुराहो नृत्य महोत्सव' देश की सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देने की दिशा में आयोजक 'मध्य प्रदेश कला परिषद' का एक प्रयास है।
  • सप्ताह भर लंबे इस महोत्सव के दौरान देश के हर हिस्से से लोकप्रिय शास्त्रीय नृत्य के कलाकारों को आमंत्रित किया जाता हैं।
  • भारत के जाने-माने श्रेष्ठ कलाकार कथक, कुचिपुड़ी, ओडिसी, भरतनाट्यम, मणिपुरी और मोहिनीअट्टम जैसे 'भारतीय शास्त्रीय नृत्यों' का प्रदर्शन करते है।
  • परंपरा और आध्यात्मिकता की ताकत इस प्रदर्शन को एक असामान्य और आकर्षक रूप प्रदान करती है। इन नृत्यों में 'भारतीय शास्त्रीय संगीत' की अधिकांश संगत का प्रयोग किया जाता है।
  • 'खजुराहो नृत्य महोत्सव' के दौरान प्रदर्शन करना 'भारतीय शास्त्रीय नृत्य' कलाकारों के लिए विशेष सम्मान माना जाता है।


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

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