गिरगिट की तरह रंग बदलना
अर्थ- कभी कुछ और कभी कुछ करना, एक बात पर स्थिर न रहना।
प्रयोग- मैं तुम्हारा भरोसा ही क्यों करूँ। जब देखो तब 'गिरगिट की तरह रंग' बदलते हो।
टीका टिप्पणी और संदर्भ
संबंधित लेख
कहावत लोकोक्ति मुहावरे वर्णमाला क्रमानुसार खोजें
"https://bharatdiscovery.org/bharatkosh/w/index.php?title=गिरगिट_की_तरह_रंग_बदलना&oldid=625752" से लिया गया